जयति जय जय माँ सरस्वती, जयति वीणा धारिणी॥
जयति जय पद्मासन माता, जयति शुभ वरदायिनी।
जयति जय जय माँ सरस्वती, जयति वीणा धारिणी॥
जगत का कल्याण कर माँ, तुम हो वीणा वादिनी।
जयति जय जय माँ सरस्वती, जयति वीणा धारिणी॥
कमल आसन छोड़कर आ, देख मेरी दुर्दशा मां।
जयति जय जय माँ सरस्वती, जयति वीणा धारिणी॥
ज्ञान की दरिया बहा दे, हे सकल जगतारणी।
जयति जय जय माँ सरस्वती, जयति वीणा धारिणी॥